मुंबई, 3 फरवरी : मधुमेह एक बहुत ही खतरनाक बीमारी है। इसका खामियाजा पूरी दुनिया भुगत रही है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के आंकड़ों के अनुसार दुनिया में 422 मिलियन से अधिक लोग मधुमेह से पीड़ित हैं। इसके साथ ही हर साल 15 लाख लोगों की प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से मधुमेह से मौत हो जाती है। मधुमेह में रक्त शर्करा का स्तर बढ़ जाता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि अग्न्याशय में उत्पादित इंसुलिन का उत्पादन नहीं होता है या उत्पादित होने पर प्रभावी नहीं होता है।
इन्सुलिन ही रक्त से शर्करा का अवशोषण करता है। इंसुलिन की कमी होने पर खून में हर जगह शुगर बढ़ जाती है और इसका असर पेशाब पर भी पड़ता है। मधुमेह का पहला लक्षण अक्सर पेशाब के रंग में देखा जाता है। वैसे तो यूरिन का रंग और भी कई बीमारियों का संकेत दे सकता है, लेकिन अगर कोई और लक्षण नजर आए तो यह निश्चित तौर पर डायबिटीज का संकेत है। ऐसी स्थिति में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
मधुमेह में पेशाब मैला हो जाता है
मधुमेह के कारण बादल छाए रहते हैं। मधुमेह एक पुरानी बीमारी है। इसमें रक्त ग्लूकोज बहुत अधिक हो जाता है और पूरे शरीर में फैल जाता है क्योंकि ग्लूकोज को अवशोषित करने वाला हार्मोन इंसुलिन उत्पन्न नहीं होता है या काम नहीं करता है। एक तरह से ब्लड शुगर लेवल बढ़ जाता है। यह शर्करा अंततः मूत्र के माध्यम से उत्सर्जित होती है। गुर्दे रक्त को छानते हैं और अपशिष्ट और अतिरिक्त तरल पदार्थ को मूत्र के माध्यम से हटाते हैं। लेकिन अतिरिक्त चीनी फिल्टर नहीं कर पाती है। यानी पेशाब में शुगर की मात्रा भी आ जाती है। इससे पेशाब मेघमय हो जाता है।
मधुमेह के अन्य लक्षण
पेशाब में शुगर की मात्रा अधिक होने पर उसमें ग्लूकोज जैसी गंध आने लगती है। यानी इसमें फलों की तरह महक आने लगती है और मीठी महक भी आने लगती है। इस लक्षण के आधार पर कुछ लोगों को मधुमेह का निदान किया जा सकता है। तो अगर आपके पेशाब का रंग बादल या बादल जैसा है और उसमें फलों की महक है। तो आपको तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
इसके साथ ही मधुमेह थकान का कारण बनता है। ज्यादा भूख लगना, बार-बार पेशाब आना, इंफेक्शन जल्दी ठीक न होना, प्यास भी लगना, हाथ पैरों में झनझनाहट होना। तो अगर ये लक्षण पेशाब के रंग के साथ हैं तो निश्चित रूप से आपको मधुमेह है।